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हरिद्वार स्टेशन पर मिला पिता से बिछड़ा मासूम ,37 दिन बाद दो साल के मासूम को जीआरपी ने किया हरिद्वार से बरामद |

हरिद्वार स्टेशन पर मिला पिता से बिछड़ा मासूम ,37 दिन बाद दो साल के मासूम को जीआरपी ने किया हरिद्वार से बरामद |

हरिद्वार स्टेशन पर मिला पिता से बिछड़ा मासूम ,37 दिन बाद दो साल के मासूम को जीआरपी ने किया हरिद्वार से बरामद |

हरिद्वार स्टेशन पर मिला पिता से बिछड़ा मासूम ,37 दिन बाद दो साल के मासूम को जीआरपी ने किया हरिद्वार से बरामद |

सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव की दूसरी पत्नी साधना गुप्ता का अस्तपाल में निधन हो गया। वह कई दिनों से अस्पताल में भर्ती थीं।
चारबाग स्टेशन पर पिता से बिछड़े दो साल के मासूम को जीआरपी ने 37 दिन बाद हरिद्वार से बरामद किया। इस बीच जहां पिता हर जगह बेटे को तलाशता रहा तो जीआरपी ने भी बिहार से पंजाब तक के स्टेशनों के सीसीटीवी खंगाल डाले। इसके बाद सर्विलांस की मदद से बच्चे को बरामद कर पिता के सुपुर्द कर दिया। उसे देखते ही पिता फूट-फूटकर रोने लगा।

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मूलरूप से अमृतसर निवासी अजय एक जून को दो साल के बेटे के साथ डिब्रूगढ़-चंडीगढ़ एक्सप्रेस (15903) की जनरल बोगी से छपरा से अंबाला जा रहे थे। वह बिहार में ऑरकेस्ट्रा पार्टियों में काम करते हैं। चारबाग रेलवे पर बेटे के पानी मांगने पर वह प्लेटफॉर्म पर उतरे। इस बीच बोगी की एक महिला को बेटे का ख्याल रखने के लिए कहा। उनका मोबाइल भी वहीं चार्जिंग पर लगा था।

ट्रेन छूटने में समय था, इसलिए बेटे को पानी पिलाने के बाद अजय प्लेटफॉर्म की बेंच पर बैठ गए, तभी उनकी आंख लग गई। करीब तीन घंटे बाद आंख खुली तो ट्रेन जा चुकी थी। अजय बदहवास से जीआरपी कार्यालय पहुंचे, जहां प्रभारी निरीक्षक अंजनी मिश्र ने मामला दर्ज कर कार्रवाई का आश्वासन दिया। इसके बाद अजय चले गए और जीआरपी ने पड़ताल शुरू कर दी।

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बच्चे की फोटो लेकर तलाशता रहा पिता

अंजनी मिश्र ने बताया कि अजय का फोन बोगी में ही रह गया था। ऐसे में उसके नंबरों को सर्विलांस पर लगाया गया। हालांकि, फोन बंद होने से कोई जानकारी नहीं मिली। इस बीच बिहार से पंजाब तक के स्टेशनों छपरा, बाराबंकी, बरेली, मुरादाबाद, अम्बाला कैंट व चंडीगढ़ के सीसीटीवी चेक करवाए गए, ताकि महिला से जुड़ा कोई सुराग मिल जाए। हालांकि, निराशा ही हाथ लगी। इस बीच अजय बच्चे की फोटो लेकर छपरा से अमृतसर स्टेशन तक खाक छानते रहे। आखिरकार सात जुलाई को जीआरपी ने उन्हें बेटे से मिलवा दिया।

रेशमा ने बेटे की तरह पाला, सिखाई पूजा

चारबाग जीआरपी प्रभारी ने बताया कि 35 दिन बाद अजय का फोन ऑन हुआ। उसकी लोकेशन हरिद्वार मिली। वहां जीआरपी की टीम उसी महिला रेशमा के घर पहुंची, जिसे अजय ने बच्चा देखे रहने के लिए कहा था। रेशमा घरों में कामकाज करती है।

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महिला ने बताया कि वह मुरादाबाद स्टेशन पर उतर गई थी। जहां से बच्चे व मोबाइल को लेकर बस से हरिद्वार पहुंची। उसने हरिद्वार पुलिस को जानकारी दी, पर पुलिस ने उसे झिड़ककर जीआरपी जाने को कहा। वह घर आकर बच्चों के साथ अजय के बेटे का भी पालन-पोषण करने लगी। इस बीच वह तीन बार थाने गई, पर कोई जानकारी नहीं मिली।

35 दिन बाद उसने अजय का फोन ऑन किया तो सर्विलांस ने उसे तलाशा। रेशमा ने बच्चे को हाथ जोड़ना, पूजा वगैरह भी सिखाने का प्रयास किया। बच्चे की बरामदगी में विवेचना कर रहे उपनिरीक्षक उद्यम सिंह तालान, उपनिरीक्षक मोहित कुमार, कांस्टेबल सुशील कुमार, अतुल शुक्ला की भूमिका सराहनीय रही।

उत्तराँचल क्राइम न्यूज़ के लिए ब्यूरो रिपोर्ट |

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