प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बोले- ‘आत्मनिर्भर भारत’ जॉब के करोड़ों अवसर पैदा करने वाला कैंपेन !
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को राष्ट्रीय रोजगार मेले में कहा कि ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान’ की सोच और अप्रोच केवल स्वदेशी अपनाने और ‘वोकल फॉर लोकल’ से कहीं ज्यादा है। यह सीमित दायरे वाला मामला नहीं है। पीएम मोदी ने कहा कि ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान’ गांव से लेकर शहरों तक, भारत में रोजगार के करोड़ों अवसर पैदा करने वाला अभियान है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि आज आधुनिक सैटेलाइट से लेकर सेमी हाई स्पीड ट्रेन तक भारत में ही निर्मित हो रहे हैं। बता दें कि पीएम मोदी रोजगार मेले में वर्चुअली शामिल हुए। उन्होंने वर्चुअल तरीके से 71,000 लोगों को नियुक्ति पत्र भी बांटे।
पीएम बोले- सरकारी नौकरी देने का सिलसिला तेजी से जारी
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार के विभिन्न विभागों में 70,000 से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरी मिली है, आप सभी को बधाई। एनडीए और बीजेपी शासित राज्यों में सरकारी नौकरी देने का सिलसिला तेज गति से चल रहा है। उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में बुधवार को ही 22,000 से अधिक शिक्षकों को नियुक्ति पत्र सौंपे गए।
पीएम मोदी ने कहा कि बैसाखी के इस शुभ दिन पर केंद्र सरकार के विभिन्न विभागों में 70,000 से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरी मिली है। पीएम मोदी ने कहा कि आज युवाओं के सामने कई ऐसे सेक्टर खुल गए हैं जो 10 साल पहले युवाओं के सामने उपलब्ध ही नहीं थे। स्टार्टअप का उदहारण हमारे सामने है। स्टार्टअप को लेकर आज भारत के युवाओं में जबरदस्त उत्साह है।
पीएम मोदी ने कहा कि एक रिपोर्ट के अनुसार, स्टार्टअप्स ने 40 लाख प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार सृजित किए हैं। उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत देश के शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार पैदा कर रहा है। रोजगार के नए अवसर पैदा करने के लिए खिलौना उद्योग को बढ़ाया गया है।
पीएम मोदी ने भारत की टॉय इंडस्ट्री का किया जिक्र
पीएम मोदी ने कहा कि भारत की टॉय इंडस्ट्री का उदहारण आपके सामने है। दशकों तक भारतीय बच्चे विदेशों से इम्पोर्ट किए खिलौने से ही खेलते रहे। न तो उनकी क्वालिटी अच्छी थी और ना ही वो भारतीय बच्चों को ध्यान में रखकर बनाये जाते थे। हमने आयात होने वाले खिलौने के लिए क्वालिटी पैरामीटर तय किए और अपनी स्वदेशी इंडस्ट्री को बढ़ावा देना शुरू किया। 3-4 वर्ष में ही टॉय इंडस्ट्री का कायाकल्प हो गया और रोजगार के अनेकों नए अवसर तैयार हुए।
इसी प्रकार से ड्रोन सेक्टर भी है। वहीं, बीते 8-9 सालों में देश के स्पोर्ट्स सेक्टर का भी कायाकल्प हो गया है। पीएम मोदी ने कहा कि आज भारत दुनिया की सबसे तेज रफ़्तार से आगे बढ़ने वाली अर्थव्यवस्था है। पूरी दुनिया कोविड के बाद मंदी से जूझ रही है, ज्यादातर देशों की अर्थव्यवस्था लगातार गिरती जा रही है… बावजूद इसके दुनिया भारत को एक Bright Spot के रूप में देख रही है। आज का नया भारत जिस नई नीति और रणनीति पर चल रहा है उसने देश में नई संभावनाओं और अवसरों के द्वार खोल दिए हैं।
पीएम मोदी बोले- स्वास्थ्य क्षेत्र में भी हो रहा रोजगार सृजन
देश का हेल्थ सेक्टर भी Employment Generation का बेहतरीन उदहारण बन रहा है। 2014 में भारत में 400 से भी कम मेडिकल कॉलेज थे जबकि आज 660 मेडिकल कॉलेज हैं। आज पहले के मुकाबले दोगुनी संख्या में डॉक्टर तैयार हो रहे हैं। Infrastructure का हर प्रोजेक्ट रोजगार और स्वरोजगार में बढ़ोतरी सुनिश्चित कर रहा है।
बंदरगाह क्षेत्र विकसित हो रहा है। स्वास्थ्य क्षेत्र भी रोजगार सृजन का बेहतरीन उदाहरण बन रहा है। हर बुनियादी ढांचा परियोजना रोजगार के अवसर पैदा कर रही है। कृषि क्षेत्र में कृषि मशीनीकरण बढ़ा है जिससे ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार के अवसर बढ़े हैं। उन्होंने कहा कि 2014 तक भारत में 74 हवाई अड्डे थे, अब 148 हवाई अड्डे हैं। हवाईअड्डों में बढ़ोतरी से रोजगार के नए अवसर भी खुले हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि नए भारत के युवा नए जमाने की तकनीकों से जुड़ रहे हैं और ड्रोन निर्माण और ड्रोन पायलट बनने में तेजी से शामिल हो रहे हैं। बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में पूंजी निवेश रोजगार सृजन को बढ़ावा देता है और युवा शक्ति के लिए विविध अवसर पैदा करता है।
पीएम मोदी बोले- हमारी सरकार में कैपिटल एक्सपेंडेचर में 4 गुना वृद्धि हुई
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि Employment Generation का एक और पक्ष है और वो है Infrastructure Projects में सरकार द्वारा किया गया निवेश। जब सरकार Capital Expenditure पर खर्च करती है तो बड़े पैमाने पर रोड, रेलवे, पोर्ट… बहुत सी चीजें तैयार हो जाती हैं। हमारी सरकार के दौरान बीते 8-9 वर्षों में Capital Expenditure में 4 गुना की वृद्धि हुई है। इससे रोजगार के नए अवसर और लोगों की आय… दोनों में वृद्धि हुई है।
उन्होंने कहा कि 2014 से पहले एक महीने में सिर्फ 600 मीटर नई मेट्रो लाइन बनाई जाती थी, आज हम हर महीने लगभग 6 किलोमीटर नई मेट्रो लाइन बना रहे हैं। तब हिसाब मीटर में होता था और आज किलोमीटर में हो रहा है। 2014 में देश में 70 से भी कम जिलों में गैस नेटवर्क का विस्तार हुआ था और आज यह संख्या बढ़कर 630 पहुंच गई है। 2014 तक ग्रामीण इलाकों में सड़कों की लंबाई भी 4 लाख किलोमीटर से कम थी, लेकिन आज ये आंकड़ा बढ़कर सवा 7 लाख किलोमीटर से ज्यादा हो चुकी है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि आप अंदाजा लगा सकते हैं कि जब गांव में सड़क पहुंचती है तो उसका क्या प्रभाव होता है। इससे पूरे इको-सिस्टम में तेजी से रोजगार का सृजन होने लगता है।