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दून अस्पताल का फुटओवर ब्रिज शुरू, मरीजों को मिलेगी अब यह सुविधा !

देहरादून. उत्तराखंड कीराजधानी देहरादून के दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल में अब मरीजों और तीमारदारों को सहूलियत मिल गई है क्योंकि दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल का फुटओवर ब्रिज तैयार होकर शुरू हो चुका है. हाल ही में स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने इसका लोकार्पण किया.अब तक मरीजों को ओपीडी बिल्डिंग से आईपीडी और इमरजेंसी बिल्डिंग में जाने के लिए सड़क से गाड़ियों के बीच से होकर गुजरना पड़ता था. कई बार व्हीलचेयर वाले मरीजों को काफी दिक्कत होती थी लेकिन अब फुटओवर ब्रिज और लिफ्ट के माध्यम से उनकी आवाजाही में आसानी होगी.

दून मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल के सीएमएस डॉ रिजवी ने बताया कि साल 2016 में जब दून अस्पताल दून मेडिकल कॉलेज बना, तो इसमें कई सुविधाएं शुरू की गई और अब तक हम यही प्रयास कर रहे हैं कि किस तरह से मरीजों को बेहतर सुविधाएं दे सके. इसी कड़ी में दून अस्पताल की इमरजेंसी बिल्डिंग बनवाई गई, जिसमें बेड और अत्याधुनिक मशीनें मौजूद हैं. जिसका लाभ देहरादून ही नहीं पूरे राज्यभर के मरीज ले रहे हैं.

 

उन्होंने बताया कि पहले सबसे बड़ी चुनौती होती थी कि आईपीडी बिल्डिंग से ओपीडी बिल्डिंग में मरीज को कैसे ले जाया जाए. उनकी सहूलियत के लिए फुटओवर ब्रिज पर काफी लंबे समय से काम चल रहा था. अब जबकि फुटओवर ब्रिज तैयार हो चुका है, तो स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिंह रावत के लोकार्पण करने के बाद अब यह मरीजों तीमारदारों और हॉस्पिटल स्टाफ के लिए मददगार साबित होगा.

कोविड-19 में दून अस्पताल में सेवाएं देने वाले वार्ड बॉय और अपनी बेटी का अस्पताल में इलाज करवाने वाले शिव बताते हैं कि उनकी बेटी अस्पताल में एडमिट है. अब वह आसानी से एक बिल्डिंग से दूसरे बिल्डिंग में जा पा रहे हैं. उन्होंने बताया कि जब वह यहां बतौर वार्ड बॉय सेवा दे रहे थे, तब उन्हें मरीजों को उनके टेस्ट के लिए आईपीडी बिल्डिंग से ओपीडी बिल्डिंग में लाना पड़ता था, तो उन्हें नीचे सड़क से होकर गुजरना पड़ता था. ज्यादा संख्या में सड़क पर गाड़ियों के चलने से व्हीलचेयर, स्ट्रेचर या पैदल चलने वाले मरीजों को दिक्कत होती थी और इसी के साथ जब तीमारदार को खुद मरीज को लाना पड़ता था, तो तीमारदार भी परेशान होता था.

 

बताते चलें कि मरीज-तीमारदारों की परेशानियों को देखते हुए 6 वर्षों पहले फुटओवर ब्रिज का प्रस्ताव लाया गया था लेकिन तत्कालीन मेयर विनोद चमोली ने इसे खारिज कर दिया था. एक बार फिर जब मेयर सुनील उनियाल गामा के सामने यह प्रस्ताव आया, तो इस पर मुहर लग गई और करीब 5 करोड़ रुपये की लागत से दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल की ओपीडी बिल्डिंग और आईपीडी बिल्डिंग को जोड़ने वाला ओवरब्रिज तैयार किया गया.

 

उत्तरांचल क्राइम न्यूज के लिए उत्तराखंड से ब्यूरो रिपोर्ट

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